-
☰
उत्तर प्रदेश: 22 सितंबर से शुरू होकर 1 अक्टूबर तक, 10 दिन मनाया जाएगा पर्व
- Photo by : SOCIAL MEDIA
संक्षेप
उत्तर प्रदेश: देशभर में आस्था और श्रद्धा का सबसे बड़ा पर्व शारदीय नवरात्रि इस वर्ष 22 सितंबर सोमवार से शुरू होकर 1 अक्टूबर तक मनाया जाएगा. इस साल शारदीय नवरात्र 1
विस्तार
उत्तर प्रदेश: देशभर में आस्था और श्रद्धा का सबसे बड़ा पर्व शारदीय नवरात्रि इस वर्ष 22 सितंबर सोमवार से शुरू होकर 1 अक्टूबर तक मनाया जाएगा. इस साल शारदीय नवरात्र 10 दिनों की होगी, तृतीया तिथि का व्रत 24 और 25 सितंबर को रखा जाएगा. इस बार तृतीया तिथि दो दिन रहेगी, जिससे शारदीय नवरात्र में एक दिन की वृद्धि होगी.शारदीय नवरात्र के पवित्र पर्व पर हिंदू धर्म के लोग अपने जीवन में सकारात्मक बदलाव लाने का संकल्प लेते हैं. 9 दिनों तक चलने वाला त्यौहार नवरात्रि आश्विन मास के शुक्ल पक्ष में मनाया जाता है. यह 9 दिन और रातों का उत्सव, स्त्रीशक्ति भक्ति और असत्य पर सत्य की विजय का प्रतीक माना जाता है. नवरात्रि में माता के नौ स्वरूपों की विशेष पूजा अर्चना होती है और हर दिन का महत्व अलग-अलग होता है.काशी पंचांग के अनुसार इस साल प्रतिपदा की शुरुआत 22 सितंबर को कलश स्थापना के साथ 1 अक्टूबर को इसकी पूर्णाहुति होगी. शारदीय नवरात्रि में उपासना करने वाले लोग देवी मां के अलग-अलग नौ रूपों की हर दिन एक अलग रूप की पूजा कर, उनसे अलग-अलग वरदान मांगते हैं। शारदीय नवरात्र में मां दुर्गा के आगमन और गमन के दौरान उनके वाहन का विशेष महत्व होता है, और इसका देश दुनिया पर विशेष प्रभाव पड़ता है। ऐसे में इस वर्ष शारदीय नवरात्र पर मां भवानी हांथी पर सवार होकर आएंगी ,देवी पुराण में हांथी की सवारी को सुख समृद्धि और ज्ञान का प्रतीक माना जाता है. नौ दिनों में पहले दिन मां शैलपुत्री, दूसरे दिन माता ब्रह्मचारिणी, तीसरे दिन चंद्रघंटा माता, चौथे दिन मां कुष्मांडा, पांचवें दिन स्कंदमाता ,षष्ठी पर मां कात्यायनी, सप्तमी पर महाकाल रात्रि, अष्टमी पर महागौरी और नवमी पर मां सिद्धिदात्री की पूजा अर्चना की जाती है. जिनके अलग-अलग वाहन होते हैं. प्रतिपदा तिथि से ही नवरात्रि की शुरुआत होती है और अष्टमी-नवमी को कन्या पूजन करने के बाद दशहरे का पावन पर्व दशमी तिथि को मनाया जाता है. शारदीय नवरात्र में ऐसी मान्यता है कि माता दुर्गा ने आश्विन महीने में महिषासुर से 9 दिनों तक युद्ध किया था. वहीं दसवें दिन राक्षस का वध करके संसार को बचाया था. इसलिए 9 दिनों तक देवी की आराधना की जाती है।